न्यूज डेस्क (इटावा): आगामी त्यौहारी मौसम औ को देखते हुए अपराधियों की धरपकड़ के लिए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक इटावा (Etawah) ने विशेष निर्देश जारी किये है। इसी क्रम में 4 अभियुक्तों की अवैध असलहा सहित गिरफ्तारी हुई है। ये सभी एक प्रापर्टी डीलर की हत्या में शामिल थे। अभियुक्तों को एसओजी इटावा और थाना भरथना पुलिस की ज्वाइंट टीम ने धरदबोचा। ये चारों बीते 2 मार्च को हुई हत्या की वारदात में शामिल थे।
पुलिसिया सूत्रों के मुताबिक 2 मार्च को थाना भरथना के तहत कस्बा भरथना में कुछ बदमाशों द्वारा एक युवक के हत्या की खब़र इटावा पुलिस को मिली। मौके पर पहुँचकर पुलिस ने घायल युवक को स्थानीय अस्पताल पहुँचाया। शुरूआती मेडिकल जांच में ही डॉक्टरों ने पीड़ित युवक को मृत घोषित कर दिया। जिसके बाद पुलिस द्वारा मृतक के शव का पंचायतनामाभर पोस्टमार्टम (Post mortem) के लिए भेज दिया गया।
मृतक सरतार सिंह के पिता लाल सिंह ने पुलिस को बताया कि मृतक पेशे से प्रोपर्टी डीलर था। परिजनों के मुताबिक मृतक का कुछ लोगों से जमीन को लेकर काफी समय से विवाद चल रहा था। घटना वाली शाम को सरतार सिंह घर के बाहर टहल रहे थे। इस बीच कुछ अज्ञात लोगों ने आकर उन पर अंधाधुंध फायरिंग कर दी।
वारदात की जानकारी मिलते ही पुलिस तुरन्त हरकत में आ गयी। परिवारवालों की लिखित तहरीर पर मु.अ.स. 63/21 धारा 147,148,149,302,120 बी भादवि के तहत 7 लोगों को मामले में नामजद किया गया। मामले की संजीदगी को देखते हुए अपराधियों पर दबिश देने और तहकीकात करने के लिये एसओजी सहित थाना भरथना पुलिस की ज्वाइंट पुलिस टीम को मामले की छानबीन में लगाया गया। इस दौरान पुलिस ने अपने मुखबिर तंत्र (Informant system) और इलैक्ट्रानिक सर्विलांस की मदद से सबूत जुटाने शुरू कर दिये।
पुलिस को बड़ी कामयाबी मुखबिर की सूचना पर मिली। वाहन चैकिंग की रूटीन कवायद के दौरान अभियुक्तों को धरदबोचा गया। पूछताछ में मुज़ारिमों ने ज़मीनी विवाद के चलते रंजिश़ और कत्ल करने की बात कबूल ली। पुलिस ने पकड़े गये अभियुक्तों के खिलाफ आर्म्स एक्ट के तहत केस दर्ज कर लिया है। पकड़े गये युवकों का नाम विपिन, कल्लू उर्फ सुनील कुमार, पस्सा और नवीन जैन बताया जा रहा है। इनके पास से अवैध तमंचा, जिन्दा कारतूस और अवैध देशी रायफल की बरामदगी की गयी है। इनकी दबिश देने के लिए एसओजी टीम की कमान उपनिरीक्षक सत्येन्द्र सिंह यादव ने और दूसरी टीम की कमान निरीक्षक नागेन्द्र कुमार पाठक ने संभाल रखी थी।