Sexual life: सेक्सुअल फैंटेसी, कभी ना कभी चकराया होगा आपका दिमाग

लाइफ स्टाइल डेस्क (देविका चौधरी): इंसानी दिमाग और सेक्सुअल एक्टिविटी (Sexual activity) का रिश्ता काफी कॉम्प्लेक्स होता है। ज़वानी की दहलीज़ पर कदम रखते ही लड़का हो या लड़की दोनों के ही दिमाग में सेक्स को लेकर कुछ हसरतें होती है। जो कि वो बेड या मनचाही जगह अंज़ाम देना चाहता है। अक्सर देखा गया है कि मन की फैंटेसी ना पूरा होने पर लोग तनाव में घिरे रहते है। मनचाही बेडशेप, पोजीशंस, जगह और कई मूव्स खास फैंटेसी का हिस्सा होते है। कुछ लोग मोटे सेक्सुअल पार्टनर ढूढ़ते है तो कुछ पतली कमर वाले। किसी को सिक्स पैक्स वाला पार्टनर चाहिए तो किसी को वाइल्ड सेक्स करने वाला।

सेक्सुअल फैंटेसी के पीछे पोर्न इंडस्ट्री सीधे तौर पर जिम्मेदार है। जब शरीर में हार्मोनल बदलाव (Hormonal changes) आते है तो लड़के-लड़कियों ब्लू फिल्मों की मदद लेकर अपने मंसूबे पालते है। दोनों का रूझान कुछ बॉडी पार्ट्स पर ज्यादा होता है। किसी का तो पोजीशंस को लेकर, तो कोई सेक्स करने के लिए बाल्कनी, छत्त, रसोई और ड्राइंग में सोफे में सेक्स करना चाहता है। ऐसे में हम आपके कुछ ऐसी सेक्सुअल फैंटेसी के बारे में बताना चाहते है। जो अक्सर सभी लोगों के दिमाग में कभी ना कभी आयी होगी।

पतली जगह और संकरी गली में सेक्स का मज़ा

तंग जगह में सेक्स करने के लिए कई लोगों में एक्साइटमेंट देखा गया है। इस फैंटेसी को सोचने मात्र से शरीर में एड्रनालिन स्ट्रोक (Adrenalin stroke) बढ़ने लगता है। संकरी जगह जैसे पतली गली, पार्क में कोना, सिनेमा हॉल में कॉर्नर और घर का स्टोर रूम। कई लोग तो सेक्स करने के लिए बेड और दीवार के बीच में खड़े होकर सेक्स करने की चाहत रखते है। ऐसा करने से डर तो लगता है कि कहीं कोई देखा ना ले। रोमांच, सैक्स और डर का मजा इस फैंटेसी के पीछे काम करता है। इससे होने वाला अनुभव काफी लाज़वाब होता है। इसे ट्राय करने में कोई हर्ज नहीं है।

जब आपके हाथों में हो पार्टनर के ऑर्गेज़्म की डोर

कई लोगों की ये हसरत होती है कि वो अपने पार्टनर की आंखों में ऑर्गेज़्म का सुख लगातार देखते रहे। कुल मिलाकर ऐसी कोई चाबी हो कि पार्टनर की तड़प, तलब और जुनून जब चाहे तब देख सके। कभी कभी ये चूहे बिल्ली के खेल की तरह हो यानि कि जब पार्टनर ऑर्गेज़्म की ओर बढ़ रहा हो तो वो खुद को इससे अलग कर ले। जिसके बाद वो अपने पार्टनर को ऑर्गेज़्म के लिए बुरी तरह ललचाये और सेक्स गेम को दुबारा से करने के लिए उसकी आंखों गिड़गिड़ाहट देखे। अपने मन मुताबिक पार्टनर को चरमसुख दे सके। जिसकी टाइमिंग का कन्ट्रोल उसके खुद के हाथों में है।

सेक्स के दौरान बॉडी का एक-एक हिस्सा एक्सप्लोर करने की चाहत

ये कुछ ऐसा है मानो कि सेक्स के दौरान जासूसी करने जैसा। इस फैंटेसी में कोई एक पार्टनर दूसरे की बॉडी को एक-एक हिस्सा में छूना चाहता, उसे गुदगुदाना चाहता है। पता लगाना चाहता है कि किसी हिस्सा को छूने से उसका पार्टनर एकदम बेबस होकर टूट जाये। किसी हिस्से पर उंगलियों की मूवमेंट सही रहेगी और किस पर जीभ की। ये एक्सट्रा प्लेजर से जुड़ा मामला है। दुनिया के ज्यादातर सेक्सुअली एक्टिव लोग ना सिर्फ ये फैंटेसी रखते है बल्कि इसे अंज़ाम भी देते है।

खुले में सेक्स करने के अरमान

सुनने में थोड़ा अज़ीब है लेकिन कई लोग खुले आसमान के नीचे सेक्स करने के बारे में सोचते है। जैसे ऊंची इमारत की खुली छत पर, खिड़की, बालकनी, पार्क और स्विमिंग पूल। ये सोचने भर से ही ज़िस्म में एक अनोखी सी गुदगुदी दौड़ उठती है। अगर आप ऐसा करने में कामयाब रहते है तो इस खास़ किस्म का सेक्सुअल स्टेटिसफिकेशन महसूस होता है। खुले आसमान और रोशनी में आपको एक दूसरे को समझने का मौका मिलता है।

पार्टनर में अपनी फेवरिट पोर्न स्टार ढूढ़ना

हर किसी सभी ख़्वाहिशें पूरी नहीं होती। कई लोग अपनी फेवरिट पोर्न स्टार, एक्ट्रैस या अपने पसंदीदा शख़्स को अपने पार्टनर में तलाशते है। मन की उड़ान का सहारा लेकर दिमाग में उसकी तस्वीर बनाते है। हर वो पोजिशंस और मूव्स करना चाहते है। जो दिमाग में सालों से दबी हुई है। इस दौरान होने वाले सेक्स में इंटीमेसी और इमेजिनेशन (Intimacy and Imagination) जोरों पर रहता है। हर सेक्सुअल ऑर्गन उसी फेवरिट पोर्न स्टार या एक्ट्रैस का दिखाई देता है। कई लोग इसके लिए अपने पार्टनर को खास नाइट वियर भी लाकर देते है ताकि उनकी पार्टनर बहुत हद उसकी इमेजिनेशन खरी उतरे।

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