न्यूज डेस्क (शौर्य यादव): पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनावों (West Bengal Legislative Assembly election) की कमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पूरी तरह संभाल ली है। जिसके तहत उन्होंने पुरुलिया में चुनावी रैली को संबोधित किया। पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनावों का पहला चरण आज से ठीक 10 दिन बाद शुरू होने जा रहा है। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तृणमूल कांग्रेस को लेकर तीखे तेवर बता रहे हैं कि आने वाला चुनाव कितना गहमीगहमा भरा रहने वाला है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और जेपी नड्डा की अगुवाई में भाजपा ने पश्चिम बंगाल चुनावों के लिए अपनी खास चुनावी रणनीति (Election strategy) को तैयार किया है। इसी क्रम में भाजपा के कई बड़े दिग्गज़ चेहरे लगातार पश्चिम बंगाल के कई जिलों का दौरा कर चुनावी रैलियों (Election rallies) को धुआंधार तरीके से संबोधित कर रहे हैं।
पुरूलिया की चुनावी जनसभा के दौरान पीएम मोदी ने कही ये अहम बातें:
- ये धरती भगवान राम और मां सीता के वनवास की भी साक्षी रही है।यहां अजुध्या पर्बत है, सीता कुंड है और अजुध्या नाम से ग्राम पंचायत भी है। कहते हैं कि वनवास के दौरान जब मां सीता को प्यास लगी थी, तो राम जी ने जमीन पर बाण मारकर पानी की धारा निकाल दी थी।
- सोचिए, तब पुरुलिया में भूजल की क्या स्थिति रही होगी।और ये विडंबना है कि आज पुरुलिया में पानी का संकट, बहुत बड़ी समस्या है।यहां के किसानों को, मेरे आदिवासी-वनवासी भाई-बहनों को इतना पानी भी नहीं मिलता कि वो सही से खेती कर सकें।
- टीएमसी सरकार सिर्फ अपने खेल में लगी है।इन लोगों ने पुरुलिया को दिया है- जल संकट इन लोगों ने पुरुलिया को दिया है- पलायन इन लोगों ने पुरुलिया के गरीबों को दिया है- भेदभाव भरा शासन इन लोगों ने पुरुलिया की पहचान बनाई है देश के सबसे पिछड़े क्षेत्र के रूप में।
- ये लोग कैसे काम करते हैं, इसका बहुत बड़ा उदाहरण है पुरुलिया पाइप्ड वॉटर सप्लाई प्रोजेक्ट ।आठ साल हो गए, ये अब तक अधूरा है।साहेब बांध सरोवर की स्थिति भी आपके सामने है। यहां के किसानों को, यहां के लोगों को इसका जवाब कौन देगा दीदी।
- पुरुलिया सहित इस पूरे क्षेत्र में विकास की असीम संभावनाएं हैं। इसके लिए इस क्षेत्र की कनेक्टिविटी को सुधारना बहुत जरूरी है। पश्चिम बंगाल के हर हिस्से को रेल सेवा से जोड़ना हमारी प्राथमिकता में है।
- बंगाल में भाजपा सरकार बनने के बाद आपकी दिक्कतों को प्राथमिकता के आधार पर दूर किया जाएगा। जब बंगाल में डबल इंजन की सरकार बनेगी, तो यहां विकास भी होगा और आपका जीवन भी आसान बनेगा।
- यहां के जैसा ही जल संकट देश के अन्य जगहों पर भी रहा है। जहां-जहां भाजपा को सेवा का मौका मिला, वहां सैकड़ों किमी लंबी पाइप लाइन बिछाई गई, तालाब बनाए। वहां अब जल संकट दूर हो रहा है। वहां के किसान अलग-अलग फसलों को उगाने लगे हैं।
- दलित, आदिवासी, पिछड़े इलाकों के हमारे युवा भी रोजगार के अवसरों से जुड़ सकें, इसके लिए कौशल विकास पर और ज्यादा फोकस किया जाएगा। यहां के छाऊ कलाकारों, यहां के हस्तशिल्पियों को कमाई और मान सम्मान से जुड़ी दूसरी सुविधाएं मिले, ये सुनिश्चित किया जाएगा।
- मां-माटी-मानुष की बात करने वाली दीदी को अगर दलितों, पिछड़ों, आदिवासियों, वनवासियों के प्रति ममता होती, तो वो ऐसा नहीं करतीं। यहां तो दीदी की निर्मम सरकार ने माओवादियों की एक नई नस्ल बना दी है जो टीएमसी के माध्यम से गरीबों का पैसा लूटती है।
- आपका उत्साह दिखा रहा है कि टीएमसी की पराजय तय है। इस बार बंगाल के चुनाव में सिंडिकेट वालों की पराजय होगी। इस बार बंगाल के चुनाव में कट मनी वालों की पराजय होगी। इस बार बंगाल के चुनाव में तोलाबाजों की पराजय होगी।
- पश्चिम बंगाल में टीएमसी के दिन अब गिनती के रह गए हैं और ये बात ममता दीदी भी अच्छी तरह समझ रही हैं। इसलिए वो कह रही हैं, खेला होबे। जब जनता की सेवा की प्रतिबद्धता हो, जब बंगाल के विकास के लिए दिन-रात एक करने का संकल्प हो, तो खेला नहीं खेला जाता, दीदी।
- दीदी बोले खेला होबे। भाजपा बोले विकास होबे… दीदी बोले खेला होबे। भाजपा बोले विकास होबे, सोनार बांग्ला होबे…
- दीदी बोले खेला होबे। बीजेपी बोले चाकरी होबे, विकास होबे, शिक्षा होबे, हॉस्पिटल होबे, स्कूल होबे, सोनार बांग्ला होबे…
- 10 साल के तुष्टिकरण के बाद, लोगों पर लाठियां-डंडे चलवाने के बाद, अब ममता दीदी अचानक बदली-बदली सी दिख रही हैं। ये हृदय परिवर्तन नहीं है, ये हारने का डर है। ये बंगाल की जनता की नाराजगी है, जो दीदी से ये सब करवा रही है।
- दीदी, ये मत भूलिए की बंगाल के लोगों की याददाश्त बहुत तेज होती है। बंगाल की जनता को याद है कि गाड़ी से उतरकर आपने कितने लोगों को डांटा और पुलिस से उन्हें पकड़ने को कहा। तुष्टिकरण के लिए आपकी हर कार्रवाई जनता को याद है।
- बंगाल के लोग बहुत पहले से मन बना चुके हैं। बंगाल के लोग बहुत पहले से कह रहे हैं- लोकसभा में TMC Half और इस बार पूरी साफ।
- बंगाल के लोगों का इरादा देख, दीदी अपनी खीज मुझ पर निकाल रही हैं। वो भाजपा के कार्यकर्ताओं पर भी भड़की हुई हैं। लेकिन हमारे लिए तो देश की करोड़ों बेटियों की तरह दीदी भी भारत की एक बेटी हैं, जिनका सम्मान हमारे संस्कारों में बसा है।
- जब दीदी को चोट लगी तो हमें चिंता हुई। मेरी भगवान से प्रार्थना है कि उनके पैरों की चोट जल्द से जल्द ठीक हो।
- जब अम्फान साइक्लोन आया तो दीदी ने क्या किया था? अगर सहायता राशि चाहिए तो एक हिस्सा पार्टी ऑफिस में जमा करवाइए। नुकसान न भी हुआ हो तो भी आपको सहायता राशि मिल सकती है, बस एक ही शर्त है पार्टी ऑफिस में पैसा जमा कर दीजिए।
- ये अटल जी की ही सरकार थी जिसने आदिवासी हितों की रक्षा और उनके कल्याण के लिए अलग से एक मंत्रालय बनाया था। आदिवासी हितों के लिए केंद्र सरकार ने अलग बजट बनाया, अनेक योजनाएं शुरू की गई है।
- बंगाल में 36 लाख से ज्यादा उज्जवला के गैस कनेक्शन दलित, आदिवासी और पिछड़े परिवारों को मिले हैं। वन उत्पादों की एमएसपी बढ़ाने के साथ ही, हमारी सरकार ने वन उपज की संख्या में भी वृद्धि की है।
- भाजपा की केंद्र सरकार की नीति है- DBT- यानि ‘डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर’। पश्चिम बंगाल में दीदी सरकार की दुर्नीति है- TMC- यानि ‘ट्रांसफर माय कमीशन।
- आपका ये जोश, हर सिंडिकेट, हर टोलाबाज का होश उड़ा रहा है। दीदी को आपके जनधन खातों से डर लगता है। बंगाल में खुले करोड़ों जनधन खाते, आपका हक आपको ही मिले, इसकी गारंटी है। साथियों, आपकी ये गर्जना बताती है की दीदी सरकार जाने का काउंटडाउन शुरू हो चुका है।
- क्या हालत बना दी है दीदी ने बंगाल की? क्राइम है, क्रिमिनल है, लेकिन जेल में नहीं है। माफिया हैं, घुसपैठिए हैं, लेकिन खुलेआम घूम रहे हैं। सिंडिकेट है, स्कैम है, लेकिन कार्रवाई नहीं होती है।
- अभी कल रात ही 24 उत्तर परगना में दर्जन से ज्यादा जगहों पर बमबाजी हुई है। बीजेपी कार्यकर्ताओं को निशाना बनाया गया है। ये स्थिति ठीक नहीं है। ये बदले की हिंसा, ये अत्याचार, ये माफियाराज और नहीं चलेगा।
- मैं बंगाल के लोगों को विश्वास दिलाता हूं, हर भाजपा कार्यकर्ता को विश्वास दिलाता हूं कि 2 मई को बीजेपी की सरकार बनने के बाद, हर अत्याचारी पर कानून के मुताबिक कार्रवाई होगी। बीजेपी की सरकार में कानून का राज फिर से स्थापित किया जाएगा।
- हम सब को मिलकर गुरुदेव रवीन्द्रनाथ ठाकुर, नेताजी सुभाष चन्द्र बोस, स्वामी विवेकानंद जैसे महान व्यक्तित्वों के सपनों के सोनार बांग्ला का फिर से निर्माण करना है। वो सोनार बांग्ला, जहां बंगाल के स्वर्णिम गौरव का समावेश होगा और आत्मनिर्भर का सामर्थ्य होगा।
- वो सोनार बांग्ला जहां हर गरीब, मजदूर, आदिवासी, किसान भाई-बंधु एक सम्मानित जीवन जिएं। वो सोनार बांग्ला जहां की मां-बहन-बेटी सब सुरक्षित और भयमुक्त रहें। वो सोनार बांग्ला जहां के युवाओं के पास शिक्षा और रोजगार के भरपूर अवसर हों।
- वो सोनार बांग्ला जहां उद्योगों की कोई कमी न हो। वो सोनार बांग्ला जहां तोलाबाजी, कटमनी, सिंडिकेट जैसे भ्रष्टाचार के लिए कोई जगह न हो। वो सोनार बांग्ला जहां गुंडे-अपराधी, उग्रवादियों की जगह जेल में हो, सड़कों पर नहीं।
- बंगाल के एक-एक व्यक्ति को याद रखना है। ये समय अपनी मातृभूमि के लिए कुछ कर गुजरने का है। ये दमनकारी और अत्याचारी शासन से बंगाल को मुक्त करने का समय है। ये अपने आदर्शों और विचारों के लिए पूरी ताकत लगा देने का समय है।