न्यूज डेस्क (निकुंजा राव): आज से सेंट्रल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (CBI) महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख द्वारा 100 करोड़ रुपये वसूली मामले में दर्ज की गयी प्राथमिकी के आधार पर जांच शुरू करेगा। मामले की छानबीन और जांच के लिए दिल्ली से सीबीआई अधिकारियों की खास टीम मुंबई पहुंच चुकी है। जिसने मामले से सभी जुड़े सभी दस्तावेजों को इकट्ठा करने का काम शुरू कर दिया है। हाल ही में मुंबई हाई कोर्ट के आदेशों पर मामले में एफआईआर दर्ज की गयी थी। सीबीआई के प्रवक्ता के मुताबिक सीबीआई टीम जांच की बुनियाद 5 अप्रैल 2021 को हुई प्राथमिकी को मानकर छानबीन आगे बढ़ायेगी।
गौरतलब है कि मुंबई हाईकोर्ट ने सीबीआई को शुरुआती जांच के लिये 15 दिनों का वक्त दिया था। सीबीआई की मौजूदा कार्रवाई को चुनौती देने के लिये उद्वव सरकार ने अनिल देशमुख के पक्ष में सर्वोच्च न्यायालय की ओर रूख़ करने का फैसला लिया है। पूर्व मुंबई पुलिस कमिश्नर परमवीर सिंह (Former Mumbai Police Commissioner Paramveer Singh) की याचिका पर सुनवाई करते हुये माननीय न्यायालय ने देशमुख के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने के फरमान जारी किये थे। साथ ही में मुंबई हाई कोर्ट ने कहा था कि सीबीआई 15 दिनों के भीतर जांच कर जवाबी हलफनामा कोर्ट के सामने पेश करें। मुंबई हाईकोर्ट के इस आदेश को लेकर महाराष्ट्र सरकार सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाने जा रही है। माना जा रहा है कि अनिल देशमुख भी निजी तौर पर सर्वोच्च न्यायालय की ओर रुख कर सकते हैं।
इसी क्रम में भारी दबाव के बीच अनिल देशमुख को महाराष्ट्र गृहमंत्री के पद से इस्तीफा देना पड़ा। जिसके बाद अब ये पद दिलीप वालसे पाटिल को मिला। बीते (6 अप्रैल 2021) मंगलवार उन्होंने गृह मंत्री का पदभार ग्रहण किया। इस दौरान उन्होंने मीडिया से कहा कि, गृह मंत्री पद का दायित्व (Responsibility of the post of Home Minister) मुझे बेहद मुश्किल हालातों में सौंपा गया है। ऐसे में मैं भरसक प्रयास करूंगा कि महाराष्ट्र पुलिस सिस्टम बेहतर और कारगर ढंग से काम करें।