नई दिल्ली (शौर्य यादव): सुप्रीम कोर्ट ने आज (18 अगस्त 2021) एक अंतरिम आदेश पारित किया, जिसके तहत महिलाओं को सितंबर में होने वाली राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (NDA) की परीक्षा में बैठने की मंजूरी दी गई। शीर्ष अदालत ने महिलाओं को एनडीए की परीक्षा में शामिल नहीं होने देने के लिये सेना को फटकार (Damnation) लगायी। सैनिक स्कूल और नेशनल इंडियन मिलिट्री कॉलेज (National Indian Military College) में लड़कियों का दाखिला नहीं कराने को लेकर सुप्रीम कोर्ट में बुधवार को एक जनहित याचिका पर सुनवाई हो रही थी जिसमें ये फैसला लिया गया।
याचिका वकील कुश कालरा ने दायर की थी। याचिका में पुणे स्थित राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए) और केरल स्थित भारतीय नौसेना अकादमी (आईएनए) में प्रवेश पाने के लिए पुरुषों के समान महिलाओं के लिए समान अवसर की मांग की गयी थी।
इस मामले पर याचिकाकर्ता के वरिष्ठ अधिवक्ता चिन्मय प्रदीप शर्मा ने कहा कि, हमें कल यूनियन ऑफ इंडिया से जवाबी हलफनामा मिला। जवाबी हलफनामे (Counter Affidavit) में उन्होनें कहा कि ये विशुद्ध रूप से एक नीतिगत फैसला (Policy Decision) है और इसमें अदालत द्वारा हस्तक्षेप नहीं किया जाना चाहिये और ऐसा इसलिए है क्योंकि लड़कियों को एनडीए में प्रवेश करने की अनुमति नहीं है। इसका मतलब ये कतई नहीं है कि हम उनकी योग्यता और दक्षता पर हम संदेह ज़ाहिर कर रहे है। उनके करियर और प्रगति को लेकर किसी तरह की कोई अड़चन नहीं है।