नई दिल्ली (विश्वरूप प्रियदर्शी): Nupur Sharma’s Controversial Statement: लाइव टीवी डिबेट के दौरान पैंगबर मोहम्मद पर आपत्तिजनक बयान भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नुपुर शर्मा के लिये बड़ी परेशानी का सबब़ बनता दिख रहा है। विदेश मंत्रालय ने इस मामले पर इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC- Organization Of Islamic Cooperation) द्वारा की गयी टिप्पणियों की आधिकारिक रूप से निंदा की है। संगठन द्वारा की गयी टिप्पणियों को “अनुचित” और “संकीर्ण मानसिकता” वाला बताते हुए विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची (Foreign Ministry spokesperson Arindam Bagchi) ने इस मुद्दे पर आधिकारिक बयान जारी किया साथ ही मामले पर ओआईसी की प्रतिक्रियायों को खारिज कर दिया।
बागची ने ट्विटर पर आधिकारिक बयान पोस्ट करते हुए लिखा कि, ‘हमने ओआईसी के महासचिव द्वारा भारत पर दिये गये बयान को देखा। भारत सरकार (Indian government) ने OIC सचिवालय की बेबुनियादी और छोटी सोच वाली टिप्पणियों को साफतौर से खाऱिज करता है।
MEA ने आगे लिखा कि, “भारत सरकार सभी धर्मों को सर्वोच्च सम्मान देती है। धार्मिक व्यक्तित्व (पैंगबर मोहम्मद) को बदनाम करने वाले आपत्तिजनक ट्वीट और टिप्पणियां कुछ लोगों के द्वारा की गयी थीं। वो किसी भी तौर पर भारत सरकार की सोच की अगुवाई नहीं करते है। मामले पर पहले से ही संबंधित निकायों द्वारा इन व्यक्तियों के खिलाफ ही कड़ी कार्रवाई की जा चुकी है।”
अरिंदम बागची ने कहा कि- “ये खेदजनक है कि ओआईसी सचिवालय (OIC Secretariat) ने फिर से मोटिवेटिड, भ्रामक और शरारती बयानों को प्रतिक्रिया देने के लिये चुना। ये सिर्फ निहित स्वार्थों के इशारे पर किया जा रहा है, जो कि विभाजनकारी एजेंडे को उजागर करता है। हम ओआईसी सचिवालय से अपने सांप्रदायिक दृष्टिकोण को बड़ा करने और सभी धर्मों के प्रति उचित सम्मान दिखाने का आग्रह करेंगे”
बता दे कि नूपुर शर्मा के बारे में विवाद तब भड़का जब भाजपा के पूर्व प्रवक्ता ने पैगंबर मुहम्मद (Prophet Muhammad) के बारे में लाइव टीवी डिबेट के दौरान इरादतन बेलगाम आपत्तिजनक बयानबाज़ी की थी। जिसकी वज़ह से उत्तर प्रदेश के कानपुर में सांप्रदायिक झड़पें हुईं। नुपूर शर्मा के बयानों बड़े राजनीतिक विवाद को जन्म दिया।
बीते रविवार (5 जून 2022) को, भाजपा ने एक आदेश जारी किया कि उन्होंने शर्मा द्वारा की गयी टिप्पणियों से खुद को अलग कर लिया और प्रवक्ता को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निलंबित कर दिया। जिसके बाद इस कदम का खाड़ी देशों ने स्वागत किया।
गौरतलब है कि ईरान, कुवैत, कतर और सऊदी अरब (Iran, Kuwait, Qatar and Saudi Arabia) जैसे देशों ने इस संबंध में सार्वजनिक रूप से माफी की मांग की है, जिस पर भाजपा ने अभी तक कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है।
मामले पर भाजपा ने किसी का नाम लिये बगैर कहा था कि वो सभी धर्मों का सम्मान करने में विश्वास करती है। महासचिव अरुण सिंह (BJP General Secretary Arun Singh) ने कहा कि पार्टी किसी भी ऐसी विचारधारा के खिलाफ है, जो दूसरे धर्मों को नीचा दिखाती हो। उन्होंने एक बयान में कहा कि, “भारतीय जनता पार्टी सभी धर्मों का सम्मान करती है। भाजपा किसी भी धर्म के किसी भी धार्मिक व्यक्ति के अपमान की कड़ी निंदा करती है।”