एजेंसियां/न्यूज डेस्क (श्री हर्षिणी सिंधू): रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस के साथ नाटो (NATO) सैनिकों के सीधे टकराव के हालातों में “वैश्विक तबाही” की चेतावनी दी है। पुतिन ने कजाकिस्तान (Kazakhstan) में शिखर सम्मेलन के आखिरी में संवाददाता सम्मेलन के दौरान ये बात कही। कुछ दिन पहले मास्को (Moscow) ने 24 फरवरी के बाद से शुरू किये अपने हमले में भारी इज़ाफा करते हुए अपनी सबसे भारी मिसाइल हमलों के साथ कीव (Kyiv) और अन्य यूक्रेनी शहरों को निशाना बनाया।
इसी क्रम में पुतिन ने कहा कि- किसी भी सूरत में रूसी सेना के साथ नाटो की सीधी टकराहट बहुत ही खतरनाक कदम होगा। ये वैश्विक तबाही (Global Catastrophe) की वज़ह बन सकता है। मुझे उम्मीद है कि जो लोग ऐसा कह रहे हैं वो ऐसा कदम नहीं उठाने के लिये काफी समझदार हैं।
पुतिन ने कहा कि कीव पर मौजूदा मिसाइल हमले क्रीमिया (Crimea) पुल पर हमले की जवाबी कार्रवाई थे। अभी हमें और हमलों की कोई दरकार नहीं है। हम खुद को यूक्रेन (Ukraine) तबाह में नहीं लगा सकते है। ये काम हम बिल्कुल नहीं करेगें। नहीं, बिल्कुल नहीं। बड़े पैमाने पर हमलों की कोई जरूरत नहीं है, क्योंकि ज्यादातर निर्धारित सामरिक लक्ष्यों को हासिल कर लिया गया है।
पुतिन ने मास्को की मौजूदा हालातों के बारे में भी बात की और कहा कि “सब कुछ ठीक चल रहा है”।
बता दे कि रूस को बीते कुछ हफ्तों में कीव की सेनाओं के खिलाफ शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा है।
पुतिन ने अन्तर्राष्ट्रीय मीडिया से कहा कि, “आज जो हो रहा है वो सुखद नहीं है। लेकिन फिर भी, (अगर रूस ने फरवरी में हमला नहीं किया होता) तो हमारी भी यही स्थिति होती, हमारे लिये हालात और खराब होते।”
“तो हम सब कुछ ठीक कर रहे हैं,” उन्होंने जोर देकर कहा।
इससे पहले पुतिन ने पिछले महीने यूक्रेन के चार इलाकों पर कब्जा करने के बाद रूसी क्षेत्र की रक्षा के लिये परमाणु हथियारों का इस्तेमाल करने की चेतावनी दी थी, इस कदम की संयुक्त राष्ट्र (United Nations) ने इस सप्ताह वोट प्रस्ताव में निंदा की थी।
उन्होंने क्रेमलिन (Kremlin) की स्थिति को भी दोहराया और कहा कि रूस बातचीत की मेच पर आने को तैयार था, हालांकि उन्होंने कहा कि अगर यूक्रेन इसमें लेने के लिए तैयार था तो उन्हें अंतर्राष्ट्रीय मध्यस्थता की दरकार होगी।
पुतिन के इस बयान से ठीक कुछ घंटे पहले दक्षिणी खेरसॉन (Southern Kherson) इलाके में क्रेमलिन की सरपरस्ती में तैनात अधिकारियों ने स्थानीय निवासियों को इलाका छोड़ने का आग्रह किया, क्योंकि कीव ने कहा था कि उसके सैनिक लगातार आगे बढ़ रहे थे।