न्यूज डेस्क (गौरांग यदुवंशी): अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर आतंकवाद के मुद्दे पर पाकिस्तान (Pakistan) की हर मंच पर बेइज्जती होती है, क्योंकि वो खुद को आंतकवाद का शिकार बताता है। लेकिन पूरी दुनिया उस पर हंसती है और कहती है, “तुमसे ना हो पायेगा।”
आतंकवाद के मुद्दे पर पाकिस्तान का सच पूरी दुनिया जानती है। लेकिन एक एजेंडे के तहत बार-बार ये बताने की कोशिश की जाती है कि पाकिस्तान असल में आतंकवाद से पीड़ित है। इस बार इस मुद्दे पर संयुक्त राष्ट्र के मंच पर पाकिस्तान की बेइज्जती हुई है। भारत ने 1 दिसंबर को महीने भर के लिये संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UN Security Council) की अस्थायी अध्यक्षता ग्रहण की। इस बीच प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान एक पाकिस्तानी टीवी चैनल के रिपोर्टर ने भारतीय विदेश मंत्री जयशंकर से एक सवाल पूछा।
भारत के विदेश मंत्री ने ऐसा जवाब दिया जिससे पूरे पाकिस्तान में खलबली मच गयी। हालात ये हो गये कि अपमान देख पाकिस्तान के विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो (Bilaval Bhutto) अंतर्राष्ट्रीय मंच पर अपनी मर्यादा भूल गये।
विदेश मंत्री एस.जयशंकर (External Affairs Minister S. Jaishankar) ने साफ किया कि दुनिया पाकिस्तान को आतंकवाद के केंद्र के तौर पर देखती है। उन्होंने जोर देकर कहा कि लगभग दो सालों की कोविड-19 महामारी के बावजूद दुनिया ये नहीं भूली है कि आतंकवाद की जड़ कहां है। एस जयशंकर ने पाकिस्तानी को नसीहत देते हुए ये भी कहा कि सांप पालने वाले को भी सांप काटता है।
एस जयशंकर ने न सिर्फ पाकिस्तानी पत्रकार के सवाल का जवाब दिया, बल्कि अपने जवाब से पाकिस्तान की ऐसी साजिश का पर्दाफाश किया, जिसके तहत वो अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत पर झूठे आरोप लगाने की कोशिश करता रहता है। एस जयशंकर ने ओसामा बिन लादेन (Osama bin Laden) और संसद हमले का जिक्र कर पाकिस्तान के चेहरे से झूठ का नकाब भी हटा दिया।
चेहरे से जब नकाब हटा तो पाकिस्तान में बवाल मच गया। पाकिस्तान में नये विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो को एस जयशंकर जैसे अनुभवी नेता को जवाब देने में बेचैनी हुई। हालांकि बिलावल भुट्टो अंतर्राष्ट्रीय मंच पर नासमझ साबित हुए, लेकिन वो अपने बयान के जरिये गुस्सा निकालते नज़र आये।
बिलावल को अंतर्राष्ट्रीय मंचों की भाषा की मर्यादा का कोई समझ नहीं है। कई बार देखा गया है कि पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) ने भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बारे में नपे-तुले शब्दों का इस्तेमाल किया। वैचारिक मतभेद होना ठीक है, लेकिन बिलावल भुट्टो की ऐसी बयानबाजी निजी दुश्मनी लगती है। ओसामा बिन लादेन, जिसकी बातों ने बिलावल को मिर्ची लगा दी, पाकिस्तान के पूर्व पीएम इमरान खान ने तो उसी लादेन को शहीद तक कह डाला था। लादेन के साथ पाकिस्तानी नेताओं की हमदर्दी को पूरी दुनिया अच्छे से समझती है। आतंक की कालिख में पाकिस्तान का मुंह काला हो गया है। पाकिस्तान के इस दोहरे चरित्र को पूरी दुनिया पहचान चुकी है।
बिलावल भुट्टो के बयान ने पाकिस्तान की मुश्किलें खासा बढ़ा दी हैं। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर की गयी टिप्पणी पाकिस्तान के लिये कांटा बन गयी है। बिलावल के इस बयान से पता चलता है कि किसी देश के मुखिया के बारे में क्या कहना है और क्या नहीं कहना है, ये किसी ने उन्हें नहीं सिखाया। बिलावल के बयान के बाद भाजपा ने दिल्ली में पाकिस्तान दूतावास के सामने नारेबाजी की। पाकिस्तान के विदेश मंत्री की ऐसी बयानबाजी के बाद कई नेताओं ने बिलावल भुट्टो को उनकी असली जगह दिखा दी है।