नई दिल्ली (विश्वरूप प्रियदर्शी): हाल ही में पीएम मोदी ने अटल सुरंग (Atal Tunnel) का लोकार्पण किया। इसके बनने से स्थानीय नागरिकों को मदद तो मिलेगी ही साथ ही पाकिस्तान और चीन के खिलाफ भारत को सामरिक बढ़त मिलना तय है। इससे कहीं ना कहीं बीजिंग और इस्लामाबाद (Beijing and Islamabad) के सत्ता प्रतिष्ठानों में बैठे नीति-नियन्ताओं के बीच बौखलाहट का माहौल बना है। इस मुद्दे पर चीनी सरकार के मुखपत्र ग्लोबल टाइम्स (Chinese government mouthpiece Global Times) में बीजिंग की खीझ साफ देखने को मिली। नई दिल्ली की धमकी जारी करते हुए अखबार ग्लोबल टाइम्स ने छापा कि- अगर दोनों के बीच लड़ाई का माहौल बनता है तो पीएलए अटल टनल को बेहद आसानी से नेस्तनाबूत कर देगी। इसके बनने से युद्ध के दौरान भारतीय सेना को कोई खास फायदा नहीं पहुँचने वाला।
अटल सुरंग को लेकर ड्रैगन की बौखलाहट के बारे में ग्लोबल टाइम्स ने आगे लिखा कि- शांतिकाल में इंडियन ऑर्मी इसकी मदद से अपनी रसद और दूसरी सप्लाई को आसानी से मोबलाइज़ कर सकती है लेकिन जंगी हालातों (War conditions) में ये किसी काम की नहीं। पीपुल्स लिब्ररेशन आर्मी (People’s Liberation Army) इसे कई तरीकों से नाकाम और बेकार कर सकती है। नई दिल्ली और बीजिंग दोनों के लिए बेहतर विकल्प है कि दोनों एक दूसरे के साथ शांतिपूर्ण तरीके से बर्ताव करे। नई दिल्ली में बैठे हुक्मरानों को खासतौर से संयम बरतते हुए उकसावे की कार्रवाई से बचना चाहिए यहीं उनके हित में होगा।
भारत की सैन्य तैयारियों के बारे में ग्लोबल ने विस्तार से लिखा कि, नई दिल्ली में बैठे नीति-नियन्ताओं के इशारे पर भारत-चीन से लगी सीमा पर बीआरओ तेजी से निर्माण कार्य बढ़ा रहा है। सड़कें, पुल और दूसरे इन्फ्रास्ट्रक्चर पर तेजी से काम हो रहा है। हाल ही में पिछले साल भारत ने 255 किलोमीटर लंबी DSDBO सड़क का काम पूरा किया है। जिसका निर्माण करने में दो दशक लग गये। इसके साथ ही भारत सरकार ने 73 अलग-अलग सड़कों को सैन्य महत्त्व के आधार पर चिन्हित (Marked by military importance) किया है। जिन पर निर्माण कार्य सर्दियों के मौसम में भी जारी रहेगा।
दूसरी ओर चीन की ओर से पनपे सैन्य तनाव के बीच आज भारतीय वायुसेना प्रमुख ने बीजिंग और इस्लामाबाद को दो-टूक जवाब देते हुए कहा- भारतीय सेना एक साथ दो मोर्चों पर लड़ने के लिए पूरी तरह सक्षम है। आने वाले वक्त में भारतीय वायुसेना युद्ध के मैदान में गेमचेंजर साबित होगी। दुश्मन की किसी भी तरह की कार्रवाई का मुँहतोड़ जवाब दिया जायेगा। हमने तयशुदा वक्त में राफेल, चिनूक, और अपाचे (Rafael, Chinook, and Apache) को ऑप्रेशनल कंडीशन के लिए तैयार कर दिया है। इससे कहीं ना कहीं चीनी सेना को हमारे ताकत का संदेश पहुँच गया होगा। फिलहाल पूर्वी मोर्चे पर ना ही तो स्थिति तनावपूर्ण है और ना ही शांति की। फिलहाल दोनों देशों के बीच शांति वार्ता की गति धीमी है लेकिन उम्मीद है कि बातचीत से मसले को सुलझा लिया जायेगा।