कांग्रेसी नेता का बड़ा बयान, जिंदा है LTTE सुप्रीमो वी.प्रभाकरन

न्यूज डेस्क (शौर्य यादव): एक चौंकाने वाले दावे में कांग्रेस के पूर्व नेता पाझा नेदुमारन ने आज (13 फरवरी) कहा कि लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम (LTTE) का सुप्रीमो वी.प्रभाकरन अभी तक जिंदा हैं। नेदुमारन (Former Congress leader Pazha Nedumaran) के मुताबिक लिट्टे सुप्रीमो अपनी पत्नी और बेटी के साथ रह रहा है और जल्द ही ईलम तमिलों की बेहतर ज़िन्दगी के लिये सार्वजनिक तौर पर बड़ा ऐलान करने वाला है।

बता दे कि लिट्टे एक उग्रवादी संगठन है। पूर्व कांग्रेस नेता ने तंजावुर (Thanjavur) में मुलिवैक्कल मेमोरियल (Mullivaikkal Memorial) में मीडिया से बातचीत करते हुए ये बड़ा खुलासा किया। मई 2009 में श्रीलंका की ओर से ये ऐलान किया गया कि लिट्टे सुप्रीमो प्रभाकरन (LTTE supremo V. Prabhakaran) सैन्य अभियान में मारा गया। प्रभाकरन की मौत के कुछ दिनों बाद श्रीलंका के एक सैन्य प्रवक्ता ने दावा किया था कि श्रीलंकाई सरकार (Sri Lankan Government) ने लिट्टे सुप्रीमों प्रभाकरन और उसके बेटे की लाशों का डीएनए टेस्ट कराया गया, जिसमें दोनों के ही डीएनए मैच कर गये।

इस मुद्दे पर ‘बॉटमलाइन’ नाम के अखबार ने तब रिपोर्ट कर दावा किया था कि- श्रीलंकाई सरकार ने प्रभाकरन की पहचान की और पुष्टि की कि बरामद की गयी लाश प्रभाकरन की ही थी। कुछ निशान और जन्म के निशान ने उसकी शिनाख्त करने में खासा मदद की थी। इस तरह सेना प्रभाकरन के जिंदा होने के बारे में सभी अफवाहों को कुचल दिया गया”।

गौरतलब है कि एलटीटीई पूर्व भारतीय प्रधानमंत्री राजीव गांधी (Former Indian Prime Minister Rajiv Gandhi) की हत्या में शामिल था और प्रभाकरन कथित तौर पर उस घातक हमले का मास्टरमाइंड था, जिसे साल 1991 में चेन्नई के श्रीपेरंबदूर (Sriperumbudur in Chennai) में एलटीटीई के एक आत्मघाती हमलावर ने अंजाम दिया था। एलटीटीई के सदस्य अक्सर अपने गले में सायनाइड कैप्सूल (Cyanide Capsules) पहनकर घूमा करते थे। पकड़े जाने के हालातों में वो कैप्सूल तोड़कर सायनाइड खाकर आत्महत्या कर लेते थे। साथ ही दुनिया के इतिहास में एलटीटीई ऐसा आंतकी संगठन था, जिसके पास अपनी खुद की वायुसेना थी।

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