दिल्ली सरकार ने तैयार किया Color Code Response system, जानिये कोरोना रोकने में कैसे होगा मददगार

न्यूज डेस्क (शौर्य यादव): दिल्ली सरकार ने महामारी की गंभीरता के मुताबिक मेट्रो ट्रेनों, रेस्तरां और शॉपिंग मॉल की विभिन्न गतिविधियों और कामकाज को प्रतिबंधित करने के लिये कलर कोड रिस्पांस एक्शन प्लान (Color Code Response system) तैयार किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि योजना के तहत विभिन्न प्रतिबंधों को लागू करने और हटाने के बारे में कोई भ्रम नहीं होगा।

दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, उपराज्यपाल अनिल बैजल, अन्य वरिष्ठ अधिकारियों और सार्वजनिक स्वास्थ्य विशेषज्ञों के साथ बैठक के बाद इस योजना को मंजूरी दी। पॉजिटिविटी रेट (लगातार दो दिनों पर), नए मामलों की कुल तादाद (एक सप्ताह से अधिक), और औसत ऑक्सीजन युक्त-बिस्तर ऑक्यूपेंसी (एक सप्ताह के लिए) के आधार पर कलर कोड अलर्ट के चार स्तरों पर लागू किया जायेगा।

Color Code के आधार

पीला- अगर पॉजिटिविटी रेट लगातार दो दिनों तक 0.5% से ज़्यादा रहती है या कुल नये पॉजिटिव मामले 1,500 के आंकड़े को छूते हैं या अस्पतालों में ऑक्सीजन बेड का औसत एक हफ़्ते के लिये 500 रहता है।

पीला – अगर टेस्टिंग पॉजिटिविटी रेट लगातार दो दिनों तक 1% से ज़्यादा रहती है या एक हफ़्ते में 3,500 नये मामले या औसत ऑक्सीजन बेड ऑक्यूपेंसी एक हफ़्ते के दौरान 700 से अधिक रहता है।

नारंगी – अगर टेस्टिंग पॉजिटिविटी रेट दो सीधे दिनों के लिए 2 फीसदी से ज़्यादा रहती है या अगर शहर में एक हफ़्ते के दौरान 9,000 नये मामले दर्ज होते हैं या ऑक्सीजन बेड ऑक्यूपेंसी (Oxygen Bed Occupancy) एवरेज सात दिनों तक 1,000 रहती है।

लाल – अगर टेस्टिंग पॉजिटिविटी रेट लगातार दो दिनों तक 5 फीसदी से ज़्यादा रहती है या अगर शहर में एक हफ़्ते के दौरान 16,000 से ज़्यादा कोरोना के मामले सामने आते है या ऑक्सीजन बेड ऑक्यूपेंसी एवरेज सात दिनों तक 3,000 रहती है।

Color Code Response system कैसे काम करेगा

दिल्ली में मॉल, बाजार, रेस्तरां, पब और मेट्रो सेवाएं बंद हो जायेगी अगर टेस्टिंग पॉजिटिविटी रेट लगातार दो दिनों तक 2 प्रतिशत से ज़्यादा रहता। बाजारों में ऑड-ईवन जैसे आंशिक प्रतिबंध (Partial Restriction) लागू होंगे अगर दर 0.5 फीसदी को छूती है तो दिल्ली सरकार की रंग-कोडित प्रतिक्रिया योजना अपना काम करेगी।

अगर निकट भविष्य में स्कूल, कॉलेज और कोचिंग संस्थानों को खोलने की अनुमति दी जाती है तो येलो अलर्ट एक बार फिर से ऐसी सभी शैक्षणिक सुविधाओं को बंद कर सकता है। जबकि रेड अलर्ट का उच्चतम स्तर (Highest Level) है अधिकांश आर्थिक और सामाजिक गतिविधियां और सार्वजनिक परिवहन सुविधायें ऑरेंज अलर्ट की घोषणा के साथ ही रुक जायेगी।

येलो अलर्ट के मामले में अधिकारी रात का कर्फ्यू लागू करेंगे, जब अलर्ट का स्तर ऑरेंज तक बढ़ा दिया जायेगा तो वीकेंड कर्फ्यू लगाया दिया जायेगा। जब अलर्ट का स्तर लाल हो जायेगा तो कुल कर्फ्यू के साथ सार्वजनिक आवाजाही पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा।

अन्य राज्यों से दिल्ली में प्रवेश करने वाले लोगों के मामले में ये साबित करना जरूरी होगा कि लोगों को पूरी तरह से टीका लगाया गया है? या फिर तीन दिन तक की पुरानी निगेटिव आरटी-पीसीआर रिपोर्ट (Negative RT-PCR report) पेश करनी होगी, जब शहर रेड अलर्ट के अधीन हो। साथ ही दूसरे राज्यों से आने वालों को जहां कोविड-19 का नया स्ट्रेन पाया गया हो तो उन्हें भी वैक्सीनेशन या निगेटिव आरटी पीसीआर रिपोर्ट पेश करनी होगी।

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