न्यूज डेस्क (शौर्य यादव): Dengue Outbreak In UP: उत्तर प्रदेश में इस साल कोविड-19 मामलों की तादाद अब तक के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गयी है, दूसरी ओर सूबे में डेंगू के प्रकोप ने लोगों के बीच खौफ का माहौल पैदा कर दिया है। प्रदेश में हर महीने खतरनाक तौर पर डेंगू के मामलों में लगातार इज़ाफा देखा जा रहा है।
उत्तर प्रदेश में डेंगू के मामलों की तादाद इस साल अब तक 23,000 के आंकड़े को पार कर गयी है, जिससे राज्य में कई सालों बाद बेहद खराब माहौल बन गया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक साल 2016 के बाद से उत्तर प्रदेश में डेंगू के सबसे ज्यादा मामले सामने आये हैं।
अब तक डेंगू के सबसे ज्यादा मामले फिरोजाबाद, झांसी, गाजियाबाद और प्रयागराज जैसे जिलों से सामने आये हैं। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में साल 2021 में डेंगू के 1,500 से ज़्यादा मामले सामने आये हैं, जिसके बाद अधिकारियों ने कार्रवाई की है, जैसा कि राज्य में डेंगू का प्रकोप हर गुजरते दिन के साथ बिगड़ रहा है, राज्य के अधिकारियों ने उत्तर प्रदेश में वेक्टर जनित बीमारी (Vector Borne Disease) के प्रसार को रोकने के लिये कई उपाय किये हैं। राज्य सरकार ने सबसे पहले ये सुनिश्चित किया है कि डेंगू रोगियों (Dengue Patients) के लिये अस्पताल के बिस्तरों की कोई कमी न हो।
इसके अलावा राज्य सरकार कथित तौर पर डेंगू बुखार की टेस्टिंग, ट्रैकिंग और ट्रीटमेंट के लिये मॉडल बनाने पर काम कर रही है। अधिकारी बीमारी को मिटाने के लिये इलाकों में सर्वेक्षण, छिड़काव, सफाई और जागरूकता अभियान चला रहे हैं।
उत्तर प्रदेश के अलावा पड़ोसी केंद्र शासित प्रदेश और राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में भी पूरे साल भर में अब तक के सबसे ज़्यादा डेंगू के मामले सामने आये हैं। दिल्ली में अब तक डेंगू के 2,700 से ज़्यादा मामले सामने आ चुके हैं। जिसकी वज़ह से पिछले कई सालों के मुकाबले डेंगू का प्रकोप बेहद ऊंचे स्तर पर पहुँचा चुका है।
भारी तादाद में डेंगू के मामलों से निपटने के लिये दिल्ली सरकार उन इलाकों में खासतौर से जांच और छिड़काव अभियान तेज कर रही है जहां से बड़ी तादाद में डेंगू के मामले सामने आ रहे है। दिल्ली के अस्पतालों को भी कहा गया है कि वे अपने कोविड-19 बेड्स में से एक तिहाई को डेंगू के रोगियों के लिये तैयार रखें ताकि इंफेक्शन से गंभीर तौर पर जूझ रहे लोगों का इलाज किया जा सके।