Diwali 2020: दीवाली की रात करें ये उपाय, धन-धान्य और समृद्धि पाये

न्यूज डेस्क (यथार्थ गोस्वामी): दीवाली (Diwali) की रात माँ लक्ष्मी को समर्पित रहती है। इन दिन माँ की आशीर्वाद से साधकों को जीवन में सम्पन्नता और समृद्धि प्राप्त होती है। शाक्त परम्परा (Shakta tradition) में परांबा लक्ष्मी के उग्र और तामसी रूप को काली माना जाता है। दोनों ही महाशक्तियां एक दूसरे की परिपूरक है। इसलिए पश्चिम बंगाल (West Bengal) में इस दिन माँ काली की विशेष आराधना होती है। तंत्र शास्त्र में देवी महाकाली का सर्वोच्च स्थान है। समस्त प्रकार की तांत्रिक सिद्धियां माँ की कृपा से सहज़ प्राप्त हो जाती है। इसलिए दीवाली वाले दिन शाक्त परम्परा और तन्त्र विधान में आस्था रखने वाले उपासक कुछ खास अनुष्ठान और उपाय करते है। जिससे उनके जीवन में भौतिक परिपूर्णता में लगातार वृद्धि होती रहती है।

इस किये जाने वाले विशेष विधानों से दुख दारिद्रय का नाश होता है। रोगों का उन्मूलन होता है। भौतिक परिपूर्णता (धन-सम्पन्नता और संतान) के अतिरिक्त मानस शांति भी मिलती है। आज हम आपको दीवाली वाले दिन किये जाने वाले कुछ अमोघ उपाय बता रहे है, जो कभी निष्फल नहीं जाते।

दीपावली पर किये जाने वाले महाटोटके

  • ऊँ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद् श्रीं ह्रीं श्रीं ऊँ महालक्ष्मयै नम: से अभिमंत्रित अक्षत, कुमकुम, पुष्प, और सुपारी इन सभी को लाल कपड़े में लपेटकर तिजोरी में रखे। पूजा में इस्तेमाल सिन्दूर से बहीखातों पर स्वस्तिक बनाये। इससे कारोबार में बढ़ोत्तरी होती है।
  • दीवाली वाले दिन प्रात: काल उषा बेला में तालाब या नदी में मछलियों को खिलाने के लिए आटे की गोलियां डाले। उसके बाद श्री विनायक गणेश जी की पूजा करते हुए उन्हें दूर्वा की 21 गांठे अर्पित करें। रात्रि लक्ष्मी पूजन के बाद किसी चौराहे पर तेल का दीपक जलाएं और बिना पीछे पलटकर देखे वापस घर आ जाये। इस उपाये से माँ की सहज़ कृपा बरसती है।
  • माँ लक्ष्मी के पूजन में पीली कौडियों और बिल्ली की खेड़ी का इस्तेमाल करे। नई झाडू खरीदकर मंदिर में दान कर दे। घर में बेकार पड़ी झाडू को दक्षिण दिशा की ओर कहीं छिपा दे। इन उपायों से संभावित धनहानि के संयोग समाप्त होते है।
  • गन्ने की जड़ को साफकर उसे लाल वस्‍त्र में लपेटे उस पर लाल चंदन और स‌िंदूर लगाएं। इसके बाद इसे त‌िजोरी या गल्ले में रख दे। इस उपाय से घर में आयी समृद्धि में स्थायित्व बना रहता है। आकस्मिक धन प्राप्ति के लिए गोधूलि बेला में बरगद के पेड़ की जटा में गांठ लगाये। आकस्मिक मनोवांछित आर्थिक लाभ होने पर इसे खोल दे।
  • घर और व्यावसायिक संस्थानों की सकारात्मक ऊर्जा संतुलित करने के लिए ये दिन अतिउत्तम है। पूजा करते समय शंख, घंटी की पर्याप्त ध्वनि करे। पूजा में कपूर,लोहबान, उत्तम किस्म की सुंगधित धूपबत्तियों के इस्तेमाल से नकारात्मक ऊर्जा समाप्त हो जाती है। घर के सभी हिस्सों में दीप की रोशनी एक बार जरूर दिखाये। लोहबान और कपूर जलाकर पूरे घर में ले जाये। संभव हो सके तो लौंग के तेल को जलाकर उस धुंआ पूरे घर में करे।
  • जिन युवाओं को नौकरी ना मिलने की समस्या से जूझना पड़ रहा है। वे माँ लक्ष्मी का सांध्य पूजन करके माँ की छवि या प्रतिमा पर थोड़ी सी भीगी हुई चने की दाल छिड़क दे। इसके बाद रात्रि के समय दालों को इकट्ठा कर पीपल के पेड़ को अर्पित कर दे। इस उपाय से नौकरी की कामना रखने वाले जातकों को थोड़ी सी ही कोशिश में ही नौकरी हासिल करने के अवसर मिलेगें।
  • काफी प्रयास करने के बाद भी आपको नौकरी न मिल पा रही हो तो दीपावली की शाम लक्ष्‍मी पूजन के पश्‍चात मां लक्ष्‍मी की प्रतिमा पर थोड़ी सी चने की दाल छिड़कें। उसके बाद दाल के सभी दानों को एकत्र करके पीपल के पेड़ पर समर्पित कर दें तो नौकरी में शीघ्र ही सफलता मिलेगी।

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