न्यूज़ डेस्क (विश्वरूप प्रियदर्शी): साल 2020 में मध्य-पूर्वी एशिया के हालात काफी तनावपूर्ण बने रहे। तनाव की अहम़ वजहें इस्राइल (Israel), ईरान, हिज़्बुल्लाह और ईरान समर्थित लेबनानी सशस्त्र समूह के इर्द-गिर्द घूम रही है। एशियाई महाद्वीप से बाहर अमेरिकी भी इसमें काफी अहम वज़ह रहा है। ईरानी शीर्ष नेतृत्व परमाणु वैज्ञानिक मोहसिन फ़ख़रीज़ादेह और जनरल क़ासिम सुलेमानी की हत्या का पीछे इस्राइल और अमेरिका का अहम वज़ह मानता है। दोनों ही मुल्क मिलकर ईरानी परमाणु कार्यक्रम को पीछे धकेलना चाहते है। जो कि सर्वोच्च धार्मिक नेता आयतुल्लाह अली ख़ामेनेई (Ayatollah Ali Khamenei) और ईरानी सरकार का नागवारा है। इसलिए सभी बातों को दरकिनार करते हुए ईरान ने यूरेनियम संवर्धन क्षमता में काफी इज़ाफा किया है।
क्षेत्र में बढ़ते असंतुलन और ईरान के आक्रामक रवैये को देखते हुए, हाल ही में इस्राइल की ओर से कड़ी प्रतिक्रिया सामने आयी हौ। इजरायल सैन्य प्रमुख अवीव कोचावी ने तेहरान को हमले की खुली चेतावनी दी है। उन्होनें कहा कि- अगर किसी भी इस्राइली नागरिक पर ईरान की ओर से हमला होता है तो, इसका मुंहतोड़ ज़वाब दिया जायेगा। हाल ही में ईरानी परमाणु वैज्ञानिक मोहसिन फ़ख़रीज़ादेह (Nuclear scientist Mohsin Fakhrizadeh) की मौत का इल्ज़ाम बेबुनियादी तौर पर इस्राइल पर लगाया जा रहा है। जिसके बाद ईरान पर कार्रवाई करने की संभावनाओं में काफी इज़ाफा हुआ है।
आगे उन्होनें कहा कि- तनाव बढ़ाने के लिए तेहरान छद्म युद्ध का सहारा भी ले सकता है। उनके रवैये से मध्य-पूर्व एशिया में शक्ति-संतुलन और स्थिरता पर लगातार खतरा बना हुआ है। इजरायल रक्षा बल (Israeli Defence Forces-IDF) उन सभी लोगों को मुंहतोड़ ज़वाब देगा, जो कि हमारी संप्रभुता का हनन करेगें। इसके साथ ही उन लोगों पर भी कार्रवाई की जा सकती है, जो कि इस्राइल के खिलाफ किसी भी कार्रवाई में मददगार होगें। चाहे वो किसी भी महाद्वीप के हिस्सें में है। मैं ये पूरी तरह साफ करना चाहता हूँ कि हम इन बातों के साथ काफी मजबूती से खड़े है। मेरी इस्राइल विरोधी ताकतों (Anti-Israel forces) से दरख्वास्त है कि, वे सभी हमें आजमाने की कोशिश ना करे, वरना अंज़ाम काफी खौफनाक हो सकता है। हम हर तरह की ज़वाबी कार्रवाई के लिए तैयार है।
गौरतलब है कि इस्राइल क्षेत्र में दबदबा बनाने के लिए ईरानी विरोध ताकतों से लगातार हाथ मिला रहा है। हाल में सऊदी सहित कई देशों से तेल अवीव ने राजनयिक संबंध बनाये। जिसमें अमेरिका का बड़ा हाथ रहा था। इस तरह चौतरफा घेराव से ईरान काफी बौखलाया हुआ है। बावजूद इसके उनका परमाणु कार्यक्रम काफी तेजी से आगे बढ़ रहा है। जिसके लिए वो नये उन्नत किस्म के सेंट्रीफ्यूज़ (Advanced centrifuges) परमाणु संयंत्रों में लगा रहा है। IDF प्रमुख के इस बयान ईरान की क्या प्रतिक्रिया रहेगी, ये देखना काफी दिलचस्प रहेगा।