न्यूज डेस्क (मृत्युजंय झा): जम्मू-कश्मीर प्रशासन (J&K Administration) ने अहम कदम उठाते हुए राज्य के बाहर के लोगों से शादी करने वाली स्थानीय महिलाओं के पतियों को डोमिसाइल सर्टिफिकेट जारी करने का फैसला किया। ये एक महत्वपूर्ण कदम है क्योंकि ये अब उन्हें केंद्र शासित प्रदेश में जमीन या संपत्ति खरीदने या वहां सरकारी नौकरियों के लिये आवेदन करने की मंजूरी देगा।
इसके लिए जम्मू-कश्मीर ग्रांट ऑफ डोमिसाइल सर्टिफिकेट (प्रक्रिया) नियम 2020 में उपनियम जोड़ा गया है। इस नियम के नये खंड के तहत संबंधित तहसीलदार के सामने पुरूष को जम्मू कश्मीर निवासी पत्नी के साथ विवाह का वैध प्रमाण पेश करना होगा। जिसके बाद पति या पत्नी को डोमिसाइल सर्टिफिकेट (Domicile Certificate) जारी कर दिया जायेगा। इस विषय में किसी भी तरह की शिकायत करने के लिये डिप्टी कमीश्नर अपीलीय प्राधिकारी होगें।
जम्मू-कश्मीर सरकार के आयुक्त सचिव मनोज कुमार द्विवेदी ने 20 जुलाई को इससे जुड़ा आदेश परिपत्र (Order Circular) जारी किया था। जिसमें उन्होंने उन नियमों के बारे में बताया गया कि डोमिसाइल सर्टिफिकेट धारक किसी गैर जम्मू कश्मीर के निवासी से शादी करते है तो वो प्रमाण पत्र हासिल करने के योग्य हो जाते है। जम्मू और कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश की विवाहित महिलायें जो राज्य के गैर निवासियों से शादी करेगी उन्हें खुद बखुद अधिवास का दर्जा दे दिया जायेगा।
सरकार ने मई में जम्मू और कश्मीर ग्रांट ऑफ डोमिसाइल सर्टिफिकेट (प्रक्रिया) नियम 2020 को अधिसूचित किया, जो नौकरियों के लिये आवेदन करने और निवासियों के लिये प्रतिबंधित अन्य विशेषाधिकारों का फायदा उठाने के लिए आवश्यक दस्तावेजों को हासिस करने की शर्तों और प्रक्रियाओं को निर्धारित करता है।
वे सभी लोग जो 15 सालों तक संघ शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर में रहे हैं, या सात साल तक अध्ययन किया है और इस इलाके के शैक्षणिक संस्थान में उनके बच्चे कक्षा 10 या 12 की परीक्षाओं में बैठे है, ऐसे में उन लोगों को अधिवासी माना जायेगा।