एजेंसियां/न्यूज डेस्क (देवेंद्र कुमार): Pakistan Suicide Blast: पाकिस्तान के अशांत खैबर पख्तूनख्वा प्रांत (Khyber Pakhtunkhwa Province) की पुलिस ने आज (31 जुलाई 2023) कहा कि शुरूआती जांच से पता चला है कि एक कट्टरपंथी इस्लामी पार्टी के राजनीतिक कार्यक्रम पर आत्मघाती हमले के पीछे प्रतिबंधित आतंकवादी गुट आईएसआईएस (ISIS) का हाथ है, जिसमें कम से कम 44 लोग मारे गये और 100 से ज्यादा लोग घायल हो गये।
बता दे कि ये हमला रविवार (30 जुलाई 2023) को हुआ जब कट्टरपंथी जमीयत उलेमा इस्लाम-फजल (JUI-F/ Jamiat Ulema Islam-Fazl) पार्टी के 400 से ज्यादा सदस्य एक जगह इकट्ठा होकर सियासी कार्यक्रम में इकट्ठा हुए थे। ये कार्यक्रम खार शहर में हो रहा था, ये इलाका अफगानिस्तान की सीमा से लगता है। जमीयत उलेमा इस्लाम-फजल के कार्यकर्ता कट्टरपंथी राजनीतिक इस्लाम विचाराधारा के लिये जाने जाते है।
मामले को लेकर स्थानीय पुलिस ने जियो न्यूज को बताया कि-“हम अभी भी बाजौर धमाके (Bajaur Blasts) की जांच कर रहे हैं और वारदात से जुड़ी जानकारी इकट्ठा कर रहे हैं। शुरआती जांच से पता चलता है कि प्रतिबंधित संगठन दाएश (आईएसआईएस) इसमें शामिल था।”
पुलिस ने कहा कि वो आत्मघाती हमलावर से जुड़ी सारी जानकारियां इकट्ठा कर रहे है, जबकि बम निरोधक दस्ते की टीम मौका-ए-वारदात से सबूत इकट्ठा कर रही है।
मामले को लेकर जिला पुलिस अधिकारी नजीर खान ने कहा कि तीन संदिग्धों को हिरासत में लिया। प्रांतीय पुलिस प्रमुख अख्तर हयात खान (Akhtar Hayat Khan) ने कहा कि धमाके में आत्मघाती हमलावरों ने 10 किलोग्राम विस्फोटक का इस्तेमाल किया गया था। उन्होंने कहा कि हमलावर कार्यक्रम में आगे बैठे लोगों की लाइन में मौजूद था। हमलावर ने सम्मेलन के मंच के पास धमाका कर दिया। पुलिस और चश्मदीदों के मुताबिक, जेयूआई-एफ डिस्ट्रिक्ट अमीर मौलाना अब्दुल रशीद (Ameer Maulana Abdul Rasheed) जैसे ही मंच पर पहुंचे तो तभी धमाका हो गया।
धमाके में मरने वालों में जेयूआई-एफ तहसील खार मौलाना जियाउल्लाह जान, नवगाई तहसील महासचिव मौलाना हमीदुल्ला, जिला सूचना सचिव मुजाहिद खान और दर्जनों पार्टी कार्यकर्ता शामिल हैं। खैबर पख्तूनख्वा (केपी) के कार्यवाहक स्वास्थ्य मंत्री रियाज अनवर ने रविवार (30 जुलाई 2023) रात कहा कि हमले में 44 लोगों की जान चली गयी, जबकि 100 से ज्यादा जख़्मी हो गये।
बाजौर और आसपास के इलाकों के अस्पतालों में धमाके के तुरन्त बाद इमर्जेंसी लगा दी गयी, जहां ज्यादातर घायलों को ले जाया गया। गंभीर रूप से घायलों को सैन्य हेलीकॉप्टरों की मदद से बाजौर से प्रांतीय राजधानी पेशावर (Peshawar) के अस्पतालों में ले जाया गया है। मामले को लेकर बाजौर जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. फैसल कमाल ने कहा कि 150 से ज्यादा जख्मी लोगों को बाजौर जिला मुख्यालय अस्पताल लाया गया।
धमाके के बाद 35 से ज्यादा लोगों को तिमरगढ़ अस्पताल (Timargarh Hospital) रेफर किया गया है, जबकि गंभीर रूप से घायल 15 लोगों को पाकिस्तानी सेना के हेलीकॉप्टर के जरिये पेशावर भेजा गया। बचावकर्मियों ने चेतावनी दी है कि मरने वालों की तादाद और बढ़ सकती है, क्योंकि 15 लोगों की हालत गंभीर है। प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ ने धमाके की कड़ी निंदा की और कसम खायी कि जिम्मेदार लोगों की शिनाख्त जल्द ही जायेगी और उन्हें सख्त से सख़्त सजा दी जायेगी।
उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि- ”पाकिस्तान की कानून इनफोर्समेंट एजेंसियां और हमारे निगेहबान दुश्मन की ऐसी कायरराना कवायद को कभी कामयाब नहीं होने देंगे। हम आपके दुःख में बराबर के भागीदार हैं। दोषियों को कड़ी सज़ा दी जायेगी। दहशतगर्दी को खत्म करने के लिये पूरे मुल्क एक साथ है।” उन्होंने धमाके की जांच के फरमान जारी कर दिये और कहा कि गंभीर तौर पर जख्मी लोगों को आर्मी हेलीकॉप्टर की मदद से दूसरे अस्पतालों में रेफर किया गया।
शरीफ ने अपनी संवेदना ज़ाहिर करने के लिये जेयूआई-एफ प्रमुख मौलाना फजलुर रहमान से बात की। पाकिस्तान के राष्ट्रपति आरिफ अल्वी (President Arif Alvi) ने दिवंगत आत्माओं की शांति के लिये प्रार्थना की और शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना ज़ाहिर की। उन्होंने घायलों के जल्द सेहतमंद होने की भी दुआ की और उन्हें घायलों को मेडिकल मदद देने पर जोर दिया।
खैबर पख्तूनख्वा के कार्यवाहक मुख्यमंत्री आजम खान ने पुलिस से धमाके पर विस्तृत रिपोर्ट मांगी। उन्होंने पेशावर में संयुक्त सैन्य अस्पताल का भी दौरा किया, जहां उन्होंने जख्मी लोगों से मुलाकात की और उनके सेहत के बारे में जानकारी ली। एक चश्मदीद ने मीडिया को बताया कि जब धमाका हुआ तब 500 से ज्यादा लोग कार्यक्रम में हिस्सा ले रहे थे। चश्मदीद ने कहा कि- “हम तकरीर [उपदेश] सुन रहे थे, तभी एक ताकतवर धमाके ने मुझे बेहोश कर दिया।” उसने आगे दावा किया कि जब उसे होश आया तो हर तरफ खून बिखरा हुआ था।
उन्होंने आगे कहा कि, “लोग चिल्ला रहे थे और मौके पर भी गोलियां भी चलीं।” 24 साल जेयूआई-एफ समर्थक सबीहुल्ला के इस दौरान बम धमाके में हाथ टूट गया। जेयूआई-एफ प्रमुख ने पार्टी के मीडिया सेल की ओर से जारी एक बयान में वारदात पर दुख ज़ाहिर किया। उन्होंने प्रधानमंत्री शरीफ और केपी सरकार से हमले की जांच की मांग की।
अफगानिस्तान में तालिबान सरकार के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद (Zabihullah Mujahid) ने हमले की निंदा की। टीटीपी के प्रवक्ता खालिद खुरासानी (Khalid Khorasani) ने भी धमाके की मुखालफत की। अगस्त 2021 में अफगानिस्तान में तालिबान की सत्ता में वापसी के बाद पाकिस्तान में आतंकी हमलों में काफी इज़ाफा देखा गया है।
बता दे कि 30 जनवरी को पाकिस्तान तालिबान के एक आत्मघाती हमलावर ने पेशावर की एक मस्जिद में दोपहर की नमाज के दौरान खुद को उड़ा लिया, जिसमें 101 लोगों की मौत हो गयी और 200 से ज्यादा लोग घायल हो गये। फरवरी में भारी हथियारों से लैस टीटीपी आतंकियों ने पाकिस्तान के सबसे ज्यादा आबादी वाले शहर में कराची पुलिस प्रमुख के कार्यालय पर धावा बोल दिया, उस दौरान हुई गोलीबारी में तीन दहशतगर्दों और दो पुलिस कांस्टेबलों समेत चार अन्य की मौत हो गयी थी।