Punjab: स्वर्ण मंदिर में अकाल तख्त के पास जमकर लगे खालिस्तान समर्थक नारे

न्यूज डेस्क (मातंगी निगम): Punjab: कट्टरपंथी सिख संगठनों और शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के समर्थकों के एक गुट ने आज (6 जून 2022) ऑपरेशन ब्लूस्टार की 38वीं बरसी पर स्वर्ण मंदिर में खालिस्तान समर्थक नारे लगाये। खालिस्तान समर्थक नारे कथित तौर पर अकाल तख्त के पास लगाये गये। पूरे स्वर्ण मंदिर परिसर में खालिस्तान समर्थक नारों की गूंज सुनी गयी। इस दौरान कई युवकों के हाथ में ‘खालिस्तान जिंदाबाद’ लिखे बैनर और तख्तियां थीं। उन्होंने मारे गये अलगाववादी नेता जरनैल सिंह भिंडरावाले (Jarnail Singh Bhindranwale) की तस्वीर वाली टी-शर्ट पहनी हुई थी।

मौके पर मौजूद पूर्व सांसद सिमरनजीत सिंह मान (Former MP Simranjit Singh Mann) की अगुवाई वाले शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के कार्यकर्ताओं ने भी खालिस्तान समर्थक नारे लगाये। इसके साथ ही उन्होंने पंजाबी गायक सिद्धू मूसे वाला (Punjabi Singer Sidhu Moose Wala) की हत्या का मुद्दा उठाया और परिवार के लिये न्याय की मांग की। ऑपरेशन ब्लूस्टार (Operation Bluestar) की 38वीं बरसी को देखते हुए अमृतसर में सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किये गये थे, जिसके बावजूद ये घटना घटी।

अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह (Akal Takht Jathedar Giani Harpreet Singh) ने इस मौके पर सिख समुदाय को अपने संदेश में कहा कि सिख प्रचारकों और विद्वानों को सिख धर्म को बढ़ावा देने के साथ समृद्ध सिख सिद्धांतों और इतिहास के बारे में युवाओं को अवगत कराने के लिये आगे आना चाहिये। उन्होंने नशीली दवाओं के खतरे से लड़ने की जरूरत के बारे में भी बात की, जिसने कई युवाओं को अपना शिकार बनाया हुआ है।

शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) सिखों की सर्वोच्च धार्मिक संस्था ने श्री गुरु ग्रंथ साहिब के गोलियां लगे परमपावन मंगलमय सरूप को प्रदर्शित किया। श्री गुरु ग्रंथ साहिब (Sri Guru Granth Sahib) 1984 में सैन्य कार्रवाई के दौरान के स्वर्ण मंदिर गर्भगृह में विराजमान थे, जिस दौरान वहां पर सैन्य कार्रवाई चल रही थी। ऑपरेशन ब्लूस्टार साल 1984 में स्वर्ण मंदिर से आतंकवादियों को बाहर निकालने के लिये किया गया मिलिट्री ऑप्रेशन था।

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