न्यूज डेस्क (समरजीत अधिकारी): American Army: अमेरिका ने अब तालिबान-नियंत्रित अफगानिस्तान (Taliban controlled Afghanistan) से बाहर निकलने की चली दो हफ़्ते लंबी खतरनाक प्रक्रिया को पूरा कर लिया है। इसी के साथ 20 सालों से चल रही लड़ाई खत्म हो गयी। जो कि 9/11 के हमलों के बाद अब तक शुरू हुआ अमेरिका का सबसे लंबा युद्ध रहा है। इस दौरान अमेरिकी सेना अपनी वापसी के पीछे काबुल एयरपोर्ट पर कई विमानों, बख्तरबंद गाड़ियों के साथ साथ एक उच्च तकनीक वाले रॉकेट डिफेंस सिस्टम (Rocket Defence System) को छोड़कर गयी है।
सेन्ट्रल कमान के प्रमुख जनरल केनेथ मैकेंजी ने कहा कि हामिद करजई अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर 73 अमेरिकी विमानों को ‘डिमिलिट्रीराइज्ड’ कर दिया गया है या अमेरिकी सैनिकों ने उन्हें बेकार कर दिया। वे हवाई ज़हाज फिर कभी उड़ान नहीं भर सकेगें। उन्हें कोई नहीं उड़ा सकेगा। उनमें से ज्यादातर हवाई ज़हाज गैर सैन्य मिशनों (Non Military Missions) से जुड़े काम करने वाले थे। लेकिन निश्चित रूप से वे फिर कभी नहीं उड़ाये जा सकेंगे।
दो हफ्ते पहले जब अमेरिका ने काबुल हवाई अड्डे से सैनिकों और नागरिकों को एयरलिफ्ट करना शुरू किया तो पेंटागन के निर्देशों पर काबुल हवाई अड्डे पर कब्जा करने और संचालित करने के लिए लगभग 6,000 सैनिकों की एक खास फोर्स बनायी गयी। अमेरिकी सैनिकों के निकलने के बाद अफगानिस्तान में 70 MRAP बख्तरबंद सामरिक वाहन छूट गये है। एक MRAP बख्तरबंद सामरिक वाहन की कीमत 1 मिलियन अमरीकी डालर के करीब बतायी जा रही है। इसके साथ ही 27 हम्वी (Humvees-बख्तरबंद जीपनुमा गाड़ी) को भी अमेरिकी सैनिकों ने नाकाम कर दिया है। इन सभी गाड़ियों को फिर कभी इस्तेमाल में नहीं लाया जा सकेगा।
अमेरिका ने सी रैम काउंटर रॉकेट सुरक्षा प्रणाली (C-Ram Counter Rocket Protection System), आर्टिलरी और मोर्टार को भी अफगानिस्तान में छोड़ दिया। जिसका इस्तेमाल रॉकेट हमलों से हवाई अड्डे की रक्षा के लिये किया गया था। इस रक्षा प्रणाली ने बीते सोमवार (30 अगस्त 2021) को इस्लामिक स्टेट खुरासान (Islamic State Khorasan) की ओर से दागे गये पांच-रॉकेट बैराज को वक़्त रहते नाकाम कर दिया था।